मोदी के बनारस दौरे के मुख्य बिंदु और सौगाते
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी के दो दिन के दौर पर पहुंचे. यहाँ पर उन्होंने अपना पिटारा खोलते हुए लोगों को कई सौगाते दी. जिनमें परियोजनाओं का लोकार्पण उनका शिलान्यास और वादे पर वादे किये. उन्होंने हर व्यक्ति विशेष का ख्याल रखते हुए अपने भाषण में योजनाए लागू की. पीएम मोदी ने अपने दिन की शुरुआत शहर से सटे शहंशाहपुर में शौचालय नींव रख स्वच्छता अभियान से की.
आपको बता दे की मोदी ने अपने संसदीय क्षेत्र के लोगों को करीब एक हजार करोड़ रुपयों की परियोजनाओं का तोहफा दिया. 18 परियोजनाओं का लोकार्पण और 10 परियोजनाओं का शिलान्यास किया. शिलान्यास करने के बाद मोदी ने कहा की बनारस को इतनी बड़ी सौगात कई दशकों में नहीं दी गई होगी. पहले सियासी हिसाब-किताब देखा जाता था. अब काम समय से पूरे हो रहे हैं. हम ही शिलान्यास करते हैं और लोकार्पण भी हम ही करते हैं. फिर उनको जनता को सौप देते हैं.
लोग वही काम करते हैं जिससे वोट बैंक मजबूत हो
आरोग्य मेले में कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि लोग वही काम करते हैं जिससे वोट बैंक मजबूतत हो, लेकिन हम इन लोगों जैसे नहीं हैं. हमें इन पशुओं से वोट नहीं मिलेगा. लेकिन योगी सरकार ने इनका मेला लगाया. जिसका फायदा किसानों को होगा. पीएम ने कहा कि हमारे संस्कार अलग हैं. हमारे लिए दल से बड़ा देश है. हम देश के लिए काम करते हैं. वोट बैंक के लिए नहीं.
आवास के लाभार्थियों को स्वीकृत पत्र देने के बाद मोदी दोपहर 12.10 बजे वाराणसी से दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगे.
मोदी द्वारा दी गई सौगात
-वडोदरा से बनारस वाया सूरत महामना एक्सप्रेस ट्रेन सेवा.
-300 करोड़ रुपए से बना दीनदयाल हस्तकला संकुल.
-गंगा पर बने सामनेघाट व बलुआ पुल.
-गंगा में जल एंबुलेंस, जल शव वाहिनी.
मोदी के भाषण के मुख्य बिंदु
– देश सबसे बड़ा है इसलिए हमारी प्राथमिकताएं वोट के लिए नहीं होती, इस मेले में उन पशुओं की सेवा हो रही है जिन्हें वोट देने नहीं जाना होता.
– पशुधन आरोग्य मेले के आयोजन के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यिनाथ जी का धन्यवाद किया.
– केवल काशी में एलईडी बल्ब लगाने से लोगों के सवा सौ करोड़ रुपये बचेंगे.
– 2022 तक देश में कोई बिना घर के नहीं होगा. नए घरों के बनने से व्यक्तियों को नए रोजगार भी मिलेंगे.
– हमने जिस गांव में टॉयलेट की नींव रखी वहां हर शौचालय पर लिखा है ‘इज्जत घर’ यह बहुत अच्छी बात है. अधिकतर सामान्य रूप से शौचालय शब्द प्रचलित है.
– सफाई कोई और करेगा, इसी मानसिकता की वजह से स्वच्छता की कमी है. लोग यह भूल जाते हैं की साफ़ –सफाई सबकी जिम्मेदारी है.